हैदराबाद । तेलंगाना के स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों को कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी की जीवनी पढ़नी होगी।
दरअसल, कांग्रेस पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता दासोजु ने तेलंगाना सरकार से इसके लिए मांग की है।
इसके जरिए वे राज्य के गठन के लिए की गई मेहनत के बदले कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के प्रति सम्मान प्रकट करना चाहते हैं।
साथ ही उन्होंने तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव पर आरोप लगाया और कहा कि वे राज्य के गठन का वास्तविक क्रेडिट कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को देना तो भूले ही और तो और सम्मान की हकदार सोनिया के लिए कुछ नहीं किया।
श्रवण दासोजु ने कहा, ‘जैसे तेलंगाना के गठन में KCR की भूमिका को नहीं भूला जा सकता वैसे ही सोनिया गांधीजी की भूमिका को भी नहीं भूल सकते।
विभिन्न स्कूलों के सिलबस में आप KCR की भूमिका बच्चों को पढ़ रहे तो सोनिया गांधी का योगदान क्यों नहीं शामिल किया?’
प्रवक्ता ने कहा कि जब सत्ता में संप्रग सरकार थी तब आंध्र प्रदेश से अलग तेलंगाना के गठन की मांग को लेकर कांग्रेस पार्टी ने एड़ी चोटी का जोर लगाया था।
इसके लिए कांग्रेस के योगदान को भुलाया नहीं जा सकता है। तेलंगाना को एक राज्य का दर्जा मिलने के बाद एकमात्र लाभ चंद्रशेखर राव को मिला लेकिन उन्होंने सोनिया गांधी को सम्मान देने में कोई रुचि नहीं दिखाई।
KCR सरकार ले रही है क्रेडिट: कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष
आंध्र प्रदेश से अलग तेलंगाना के गठन के एक साल बाद वर्ष 2015 के मई में राज्य की गठन से जुड़ा एक नया पाठ कक्षा दसवीं की इतिहास के सिलबस में शामिल किया गया।
‘The movement for formation of Telangana state’ नामक इस पाठ में 2009 में केसी राव के उपवास से लेकर राज्य के गठन तक का विवरण है लेकिन इसमें कहीं भी कांग्रेस या इसकी अध्यक्ष सोनिया गांधी का जिक्र नहीं।’ राज्य के स्कूलों में लागू पाठ्यक्रम में कांग्रेस अध्यक्ष की जीवनी को शामिल करने की अपील की गई है।
कांग्रेस अध्यक्ष के 74वें जन्मदिन के मौके पर बुधवार, 9 दिसंबर को तेलंगाना ऑल इंडिया कांग्रेस कमिटी (AICC) के प्रवक्ता श्रवण दासोजु (Sravan Dasoju) ने तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव से इस बात का आग्रह किया है।
वर्ष 2014 में के चंद्रशेखर राव ने ही कहा था कि तेलंगाना के लिए सोनिया गांधी को सारा क्रेडिट जाता है और इसे कोई दूसरा नहीं छीन सकता।
प्रवक्ता ने इस बात को दोहराते हुए कहा कि मुख्यमंत्री राव ने राज्य के गठन के बाद विधानसभा में कहा था कि ‘सोनिया गांधी के बगैर तेलंगाना का अस्तित्व नहीं।’